इंडियन रेलवे को सभी ट्रेनों को राजधानी में तब्दील कर डीएनए चाहिए
आज नार्थ ईस्ट एक्सप्रेस से यात्रा कर रहा हुँ। ये ट्रैन 6घंटे की देरी से ही आनंद विहार टर्मिनल से खुली। और 8 घंटे से ज्यादा हो गयी है ट्रेन अभी तक कानपुर भी नही पहुची है।
ट्रैन की जो गति है वो किसी बैलगाड़ी जैसी है। कुछ देर सही चलने के बाद खड़ी हो जाती है।
ऊपर से 1घंटा ट्रेन रोक कर राजधानी एक्सप्रेस को पास करवायी जाती है। जिस गति से राजधानी निकलती है मानता हूं कि हर ट्रैन राजधानी होती। किसी को भी ज्यादा परेशानी नही सभी ट्रेनें जूम जूम कर निकलती और लोग अपने गंतव्य पर सही समय से पहुंच जाते।
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